Mayawati की पार्टी ने 2009 के लोकसभा चुनाव में 20 सीटें जीतकर सभी राजनीतिक दलों को चौंका दिया था। मायावती 2024 के लोकसभा चुनाव में वही परिणाम चाहती हैं।
Mayawati लखनऊ में रहकर लगातार अलग-अलग मंडलों की बैठकें कर रही हैं। हर एक सीट पर जातीय समीकरण का ध्यान रख रही हैं। मायावती ने पिछले चार चुनावों के ट्रेंड की रिपोर्ट भी मंडल प्रभारियों से मांगी है। लगातार बसपा के हार का कारण भी पूूछा है। किस आधार पर उम्मीदवार को टिकट देना चाहिए। इसकी भी जानाकरी मांगी हैं।
Mayawati बना रही है टिकट देने की रणनीति
Mayawati ने एकला चलो की रणनीति पर उम्मीदवारों का पैनल तैयार कराना शुरू कर दिया है। 2024 के लोकसभा चुनाव में अधिकतर सीटों पर पूर्व सांसदों और पूर्व विधायकों पर दांव लगाने की तैयारी में हैं। क्षेत्र में सक्रिय और जातीय समीकरण में फिट बैठने वालों को मायावती तरजीह देंगी। मंडल प्रभारियों को ऐसे नामों का पैनल भेजने का निर्देश दिया गया है।इस बार बाहरियों को तरजीह देने के स्थान पर पार्टी छोड़ कर न जाने वाले वफादारों पर दांव लगाने पर सहमति बनी है।
Mayawati चारों राज्यों में 20 सभाएं करेंगी
बसपा सुप्रीमो पांच राज्यों में होने वाले विधानसभा चुनाव की तैयारियों में भी जुटी हुई हैं। जीतने वाले उम्मीदवारों को ही टिकट दिया जा रहा है। इनकी जीत पक्की करने के लिए वे चार राज्यों में पहले चरण में कुल 20 रैलियां व सभाएं करेंगी। मध्य प्रदेश-राजस्थान में आठ-आठ और छत्तीसगढ़ व तेलंगाना में दो-दो रैलियों का कार्यक्रम फिलहाल तैयार किया गया है।
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